बुखार उतारने का टोटका ‌‌‌ bukhar utarne ke totke  और उपाय के बारे मे जानकारी

बुखार उतारने का टोटका , bukhar utarne ke totke बुखार एक सामान्य शब्द है जिसका अर्थ होता है शरीर के तापमान में बढ़ोतरी। यह एक सामान्य रूप से शरीर की एक प्रतिक्रिया है जो संक्रमण, वायरस, बुखार, स्नायु-तंत्रिका संक्रमण या अन्य कुछ बीमारियों के लक्षण के रूप में दिखता है।

जब शरीर किसी संक्रमण का सामना करता है, तो  बुखार के रूप में प्रतिक्रिया करता है। बुखार उनकी रोकथाम का एक तरीका होता है, जिसमें शरीर इन्फेक्शन से लड़ने के लिए ज्यादा उच्च तापमान का उत्पादन करता है। यह उत्पादन शरीर की रोग-प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है और रोगी को जल्द से जल्द ठीक होने में मदद करता है।

बुखार का सामान्य लक्षणों में शरीर में तापमान बढ़ जाता है, सिरदर्द, थकान और ठंड शामिल हो सकते हैं। यदि बुखार अधिक उच्च होता है।

‌‌‌वैसे आपको बतादें कि बुखार काफी आम समस्या होती है। और अधिकतर केस के अंदर यह आम गोली और दवा से आसानी से ठीक हो जाती है। इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । यदि आपको भी बुखार की समस्या है तो यदि यह किसी बड़ी बीमारी की वजह से नहीं है तो ‌‌‌आप कुछ टोटके कर सकते हैं और इन टोटकों की वजह से आपको बुखार की जो समस्या है वह दूर हो जाती है इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । और आप इस बात को समझ सकते हैं। और यही आपके लिए सही होगा । इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए ।

‌‌‌इस लेख के अंदर हम आपको बुखार उतारने के टोटकों के बारे मे विस्तार से बताने वाले हैं। उसकी मदद से आप बुखार को उतार सकते हैं। और यह आपके लिए काफी अधिक फायदेमंद होगा । इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । और आप इस बात को समझ सकते हैं।

‌‌‌बुखार को दूर करने के तरीके काफी अधिक सरल होते हैं। तो आप उनकी मदद से बुखार को दूर कर सकते हैं। यदि आपको बुखार काफी अधिक परेशान कर रही है तो आप नीचे दिये गए उपायों को कर सकते हैं। और बुखार से छूटकारा पा सकते हैं तो आइए जानते हैं इन तरीकों के बारे मे ।

class="wp-block-heading">बुखार उतारने का टोटका ‌‌‌निर्गुंडी की छाल का प्रयोग bukhar utarne ke totke
बुखार उतारने का टोटका

‌‌‌यदि आप इसका प्रयोग करना चाहते हैं तो आपको बकरे के बाल की जरूरत होगी जोकि अश्विनी नक्षत्र के अंदर लेकर रखना होगा । उसके बाद निर्गुंडी की छाल आदि को आपको मिलाना होगा । उसके बाद आपको इसकी एक गोली बना लेनी होगी । यदि आप ‌‌‌इसकी गोली को भूजा के अंदर बांध लेते हैं तो इससे काफी अधिक फायदा होगा । आप इस बात को समझ सकते हैं । और इसकी मदद से आपकी सारी समस्याएं दूर हो जाएंगी । इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । और आप इस बात को समझ सकते हैं।

निर्गुण्डी या विटेक एक झाड़ी है जो सामान्यतः उष्ण क्षेत्रों में पाई जाती है। इसका वैज्ञानिक नाम “विटेक निगुंडी” है और यह अधिकतर भारत में पाया जाता है।

निर्गुंडी के पत्ते, फल और बीज औषधीय गुणों से भरपूर होते हैं और इनका उपयोग आयुर्वेदिक दवाओं और जड़ी-बूटियों में किया जाता है। यह प्राकृतिक रूप से एंटीबैक्टीरियल, एंटीफंगल और एंटीवायरल गुणों से भरपूर होता है। इसके अलावा, इसे पेट के रोगों, जड़ से चोट, कुष्ठ और दमा जैसी बीमारियों के इलाज के लिए भी उपयोग किया जाता है।

‌‌‌बुखार उतारने का टोटका काकमांत्री bukhar utarne ke totke

दोस्तों यदि आप बुखार की वजह से काफी अधिक परेशान हैं तो फिर आप यह प्रयोग कर सकते हैं। यह प्रयोग आपके लिए काफी अधिक फायदेमंद होगा । इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । आप काकमांत्री  की जड़ को लेकर आएं । और उसके बाद उसको धागे के अंदर बांधें और फिर दाहिने ‌‌‌कान पर यदि आप इसको रख देते हैं। तो इसका फायदा यह होगा कि रोगी को जो रात के अंदर बुखार आता है वह दूर हो जाएगा । इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । और आप इस बात को समझ सकते हैं। और यही आपके लिए सही होगा ।

काकमांत्री एक प्राचीन और प्रभावी जड़ी-बूटी है, जो भारत, श्रीलंका, थाईलैंड, मलेशिया और इंडोनेशिया जैसे कुछ देशों में पाई जाती है।काकमांत्री का वैज्ञानिक नाम “सल्लकी” है और इसका प्रयोग कई तरह की बीमारियों के अंदर किया जाता है।

एलर्जी, ब्रोंकाइटिस, अस्थमा, साइनसाइटिस, उल्टी, जी मिचलाना और आँखों की समस्याएं आदि के अंदर किया जाता है। इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । और इस जड़ी बूटी के अंदर कई तरह के पोषक तत्व होते हैं जोकि आपके लिए काफी अधिक फायदेमंद होते हैं जैसे कि फाइबर, प्रोटीन, कैल्शियम, आयरन, फोस्फोरस और विटामिन ‌‌‌आदि ।

‌‌‌बुखार उतारने का टोटका मयूर शिखा bukhar utarne ke totke

मयूर शिखा की मदद से भी आप बुखार को उतार सकते हैं। यह एक बुखार को उतारने का एक अच्छा टोटका है। इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । इसके लिए आपको करना यह है कि शनिवार के दिन मयूर शिखा के पौधे को निमंत्रण देकर आएं । उसके बाद दूसरे दिन इसको उखाड़ कर ले आएं ।

‌‌‌उसके बाद इसको यदि आप लाल डोरे के अंदर लपेट कर हाथ और कमर के अंदर बांधते हैं तो ऐसा करने से काफी फायदा होगा और आपकी जो बुखार है वो उतर जाएगी । यह एक अच्छा तरीका है जिसका उपयोग आप कर सकते हैं।

मयूर शिखा एक पेड़ का नाम होता है जो वैज्ञानिक रूप से “Delonix regia” नाम से जाना जाता है। इसे अंग्रेजी में “Royal Poinciana” और “Flamboyant Tree” के नाम से भी जाना जाता है।  और यह गर्म इलाकों के अंदर पाया जाता है इसके खूबसूरत पीले और नारंगी रंग के फूल होते हैं।

‌‌‌उल्लू के पंख से बुखार उतारने का टोटका

दोस्तों उल्लू के बारे मे आप अच्छी तरह से जानते ही हैं। आपको बतादें कि यदि आपके यहां पर उल्ला का दाहिने डैने के पंख को सफेद धागे के अंदर लपेट लेना चाहिए । और उसके बाद इसको गोल करलें । फिर यदि इसको रोगी के बाएं कान के अंदर‌‌‌ धारण करवादें । तो इसका काफी अधिक फायदा होगा । और ऐसा करने से रोगी की जो बुखार की समस्या है वह दूर हो जाएगी । लेकिन आपको बतादें कि इसके लिए किसी भी उल्लू की हत्या नहीं करनी चाहिए । आप इस बात को समझ सकते हैं। यह एक अच्छा उपाय है।

‌‌‌यदि यह उपाय सुल्भ नहीं है तो आप दूसरा उपाय कर सकते हैं।

‌‌‌भूत बुखार के उपाय

दोस्तों कई बार क्या होता है कि भूत या फिर उपरी हवा की वजह से इंसान को बुखार हो सकती है। इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । और यदि यह बुखार हो जाती है तो फिर इसके लिए आप एक सरल उपाय कर सकते हैं। यह आपके लिए काफी अधिक ‌‌‌नुकसानदायी हो सकती है।

‌‌‌इसके लिए रोगी के हाथ मे चिड़चिड़े की जड़ को बांधना चाहिए । ऐसा करने से रोगी की जो बुखार की समस्या है वह सही हो जाती है। इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । और आप इस बात को समझ सकते हैं। और यही आपके लिए सही होगा । ‌‌‌इसके लिए चिड़चिड़े की जड़ को हाथ में बांध लेना चाहिए ।

बिछुआ या चिड़चिड़ा बिछुआ परिवार का एक सदस्य है, जिसमें कई आम बगीचे के पौधे शामिल हैं, जैसे सिंहपर्णी और बोझ। बिछुआ की जड़ एक बारहमासी पौधा है जो समशीतोष्ण और गर्म जलवायु में उगता है। जड़ को ताजा या सूखा खाया जा सकता है, लेकिन हर्बल दवा में इसके उपयोग के लिए सबसे ज्यादा पहचाना जाता है।

‌‌‌लाल पलाश का उपयोग बुखार का टोटका

bukhar utarne ke totke

दोस्तों यदि आपको किसी भी प्रकार की बुखार है तो इसके अंदर लाल पलाश का प्रयोग किया जाता है। इसके लिए रविपुष्य योग के अंदर लाल पलाश को हाथ के अंदर बांध दें । दाएं हाथ में तो ऐसा करने से भूत प्रेत आदि की वजह से जो बुखार आया है वह भी दूर हो जाएगा ।

लाल पलाश का पेड़ (फाइकस रिलीजियोसा) दुनिया के कई हिस्सों में एक आम सजावटी पेड़ है। यह पेड़ भारत और श्रीलंका का मूल निवासी है, लेकिन अब यह दुनिया के कई अन्य हिस्सों में पाया जाता है। लाल पलाश का पेड़ अंजीर परिवार का एक सदस्य है और लाल-भूरे रंग की छाल से परिवार के अन्य सदस्यों से अलग है। पेड़ लगभग 30 मीटर की ऊंचाई तक बढ़ते हैं और लगभग 1 मीटर के तने का व्यास होता है।

‌‌‌सहदेई की जड़ का प्रयोग

दोस्तों यदि आपको बुखार काफी अधिक परेशान कर रही है तो फिर आप यह एक छोटा सा टोटका प्रयोग मे ले सकते हैं यह आपके लिए काफी अधिक फायदेमंद होगा । इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । और आप इस बात को समझ सकते हैं। इसके लिए आपको करना यह है कि ‌‌‌इसके लिए आपको रविवार के दिन सुबह नहाधोकर जाएं और फिर आपको सहदेई और निर्गुंडी की जड़ को लेकर आना होगा । उसके बाद यदि आप इसको कमर के अंदर बांध देते हैं तो ऐसा करने का फायदा यह होगा कि आपकी जो बुखार की समस्या है वह दूर हो जाएगी । इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए ।

सहदेई वृक्ष एक प्रकार का सदाबहार वृक्ष है जो मध्य पूर्व और उत्तरी अफ्रीका में पाया जाता है। पेड़ का नाम “शांति” के लिए अरबी शब्द से आया है। सहदेई का पेड़ अक्सर पारंपरिक इस्लामी कला में प्रयोग किया जाता है, क्योंकि इसकी शाखाओं और पत्तियों का उपयोग अक्सर जटिल पैटर्न बनाने के लिए किया जाता है।

‌‌‌ईकाई ज्वर का प्रयोग और टोटका

दोस्तों यदि आपको इकाई ज्वर की समस्या है तो आप यह उपाय कर सकते हैं। यह उपाय आपके लिए काफी अधिक फायदेमंद होगा । इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । इसके लिए आपको चाहिए कि जिस दिन इकाई ज्वर की बारी हो उस दिन ‌‌‌दिन निकलने से पहले केकड़ा के बिल की रेत को आपको लेकर आना होगा । और उसके बाद यदि आप इस रेत का टिका लगाते हैं तो ऐसा करने से इकाई बुखार की जो समस्या है वह दूर हो जाएगी । इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए।  और आप इस बात को समझ सकते हैं। और यही आपके लिए सही होगा ।

‌‌‌जयंती की जड़ का प्रयोग

दोस्तों यदि आपको बुखार काफी अधिक परेशान कर रही है तो आप यह टोटका प्रयोग मे ले सकते हैं यह आपके लिए काफी अधिक फायदेमंद होगा । इस प्रयोग को आपको रविवार के दिन करना होगा । इसके लिए आपको चाहिए कि आप जयंति की जड़ को रविवार के दिन बिना कपड़ों के लेकर आएं । इसके लिए ‌‌‌सुबह का समय रात को चुने । फिर इसको जिस किसी को भी बुखार की समस्या हो उसके बाएं हाथ मे बांध देना चाहिए । ऐसा करने से कैसा भी प्रकार का बुखार क्यों ना हो अपने आप ही सही हो जाता है। यह एक बेहतर टोटका है यदि आप इसका प्रयोग करते हैं तो यह कभी भी असफल नहीं होता है।

जुबली प्लांट, जिसे जुबैया क्राइसेंथेमोइड्स के नाम से भी जाना जाता है, सूरजमुखी परिवार में एक वार्षिक शाकाहारी पौधा है। जुबली एक लोकप्रिय सजावटी पौधा है और इसकी खेती 2,000 से अधिक वर्षों से की जा रही है। जयंती संयंत्र उत्तरी अमेरिका का मूल निवासी है और मुख्य रूप से संयुक्त राज्य अमेरिका के ग्रेट प्लेन्स क्षेत्र में होता है। यह पौधा अपने बड़े, दिखावटी फूलों के लिए विख्यात है जो पीले होते हैं और एक लाल केंद्र होता है।

‌‌‌श्वेत जयंति का प्रयोग

दोस्तों यदि आपको बुखार काफी अधिक परेशान कर रही है तो आप यह उपाय प्रयोग मे ले सकते हैं। यह आपके लिए काफी अधिक फायदेमंद होता है। इसके लिए आपको श्वते जयंति की जड़ को लेकर आना होगा । और उसके बाद इसको यदि आप रोगी के माथे पर बांध देते हैं तो ऐसा करने से कैसा भी पुराना ‌‌‌बुखार क्योंना हो अपने आप ही ठीक हो जाता है। इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । और आप इस बात को समझ सकते हैं।

‌‌‌बबूल की जड़ का टोटका

दोस्तों बबूल का पेड़ आसानी से मिल जाएगा । यदि किसी को बुखार की समस्या है तो यह उपाय कर सकते हैं । बबूल की जड़ को आपको लेकर आना होगा । उसके बाद इसको शनिवार के दिन माथे पर सफेद धागे को लपेट कर बांध दें । फिर जब ज्वर उतर जाए तो इसको किसी ‌‌‌सुनसान जगह पर फेंक देना चाहिए । ऐसा करने से बुखार फिर से नहीं आएगा ।

छाया बनाने के लिए अक्सर बबूल के पेड़ का इस्तेमाल किया जाता है। वे 23 मीटर तक लंबे हो सकते हैं और उनकी उम्र 50-70 साल होती है। बबूल के पेड़ की लकड़ी बहुत कठोर होती है, जो इसे फर्नीचर और निर्माण सामग्री के लिए एक लोकप्रिय विकल्प बनाती है।

‌‌‌अपमार्ग की जड़ का प्रयोग

दोस्तों यदि आपको रूक रूक कर बुखार आता है तो फिर आप यह प्रयोग कर सकते हैं। यह आपके लिए काफी अधिक फायदेमंद होगा । इसके लिए अपमार्ग की जड़ को रविवार के दिन लेकर आना होगा । और उसके बाद उसको लाल धागे के अंदर लपेटकर ‌‌‌कमर के अंदर बांध लेते हैं तो इसके अंदर काफी अधिक फायदा होगा । आप इस बात को समझ सकते हैं। और यह आपके लिए काफी अधिक फायदेमंद होगा । इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । और आप इस बात को समझ सकते हैं।

अपामार्ग का पौधा शुष्क वातावरण में उगने वाला रसीला होता है। इसमें त्रिकोणीय आकार के पत्ते होते हैं जो छोटे धक्कों से ढके होते हैं। पौधे के फूल सफेद होते हैं और बैंगनी रंग की नसें होती हैं।

‌‌‌शीत बुखार को कम करने का टोटका

दोस्तों यदि आपको शीत बुखार की समस्या है तो आप यह उपाय कर सकते हैं। यह आपके लिए काफी अधिक फायदेमंद होगा । इसके अंदर आपको करना यह है कि मंगलवार को 7 लहसुन लें और काले कपड़े के अंदर रखकर दाहिने पैर के अंगूठे के अंदर बांध दें ।‌‌‌इसके तीन घंटे बाद आपको इसको चौराहे पर खोलकर फेंक आना है। ऐसा करने से जो शीत बुखार की समस्या होती है वह ठीक हो जाती है। इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । और आप इस बात को समझ सकते हैं। और यही आपके लिए सही होगा ।

‌‌‌वैसे लहसुन के बारे मे आप अच्छी तरह से जानते ही हैं। लहसुन की मदद से आप घर के अंदर सब्जी बनाते हैं और लहसुन आपके घर के अंदर काफी आसानी से मिल जाती है तो आप यह प्रयोग कर सकते हैं। यह आपके लिए काफी अधिक फायदेमंद होगा ।

‌‌‌बुखार को दूर करने का सरल टोटका

दोस्तों यदि रोगी को बुखार नहीं उतर रहा है तो आप यह उपाय कर सकते हैं। यह उपाय आपके लिए काफी अधिक फायदेमंद होगा । इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । इसके लिए रविवार के दिन मिट्टी के घड़े के अंदर जल भरकर आपको रख देना है। उसके बाद उस घड़े मे एक सोने की अंगूठी ‌‌‌डाल देनी होगी । उसके बाद एक घंटे शाम को किसी चौराहे पर उस घड़े को लेकर जाना होगा । उसके बाद उस घड़े के पानी से रोगी को नहला दें । और फिर अंगूठी को निकाल लें । माना जाता है कि ऐसा करने से रोगी का बुखार उतर जाता है। यह एक अच्छा उपाय है जिसको आप कर सकते हैं।‌‌‌यह आपके लिए काफी अधिक फायदेमंद होगा ।

‌‌‌मलेरिया बुखार को दूर करने का उपाय

दोस्तों यदि आपको मलेरिया बुखार है तो आप यह उपाय कर सकते हैं। इसकेलिए । सोमवार और रविवार को यह उपाय करना होगा । रोगी किसी ताड़ के पेड़ के पास जाए और फिर उससे लिपटकर मन ही मन कहे  ‌‌‌जब मेरा बुखार उतर जाएगा तो मछली चढ़ाउंगा । ऐसा मन मे तीन बार कहें । उसके बाद जब बुखार उतर जाएगा तो फिर दो छोटी मछली को लकड़ी से बांधकर ताड़ के पेड़ के नीचे सोमवार के दिन चढ़ा आना चाहिए । और कहना चाहिए कि मेरा बुखार उतर गया है।

‌‌‌यह एक प्रकार का टोटका होता है जोकि काफी बेहतर तरीके से काम करता है। इसके बारेद मे आपको पता होना चाहिए । और आप इस बात को समझ सकते हैं। और यही आपके लिए सही होगा ।

‌‌‌बुखार उतारने का उपाय गिलोय का सेवन

दोस्तों यदि आपको बुखार काफी अधिक परेशान करता है तो आपको गिलोय का काढ़ा बनाकर सेवन करना चाहिए । यह आम बुखार को दूर करने का  सबसे अच्छा तरीका है। इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए ।‌‌‌इसके अलावा भी मार्केट के अंदर कई तरह के गिलोय की टेबलेट आती है आप उसका भी सेवन कर सकते हैं ।यह आपके लिए काफी अधिक फायदेमंद होती है। इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । और आप इस बात को समझ सकते हैं।

गिलोय, एक प्रसिद्ध और लोकप्रिय फिलिपिनो फल है, जो इसका सेवन करने वाले लोगों के लिए लाभों से भरपूर है। यहां कुछ ही हैं: गिलोय विटामिन ए और सी, पोटेशियम और मैग्नीशियम जैसे खनिजों और एंटीऑक्सीडेंट से भरपूर है। इसमें एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण भी होते हैं जो विभिन्न बीमारियों के जोखिम को कम करने में मदद कर सकते हैं। इसके अतिरिक्त, गिलोय का सेवन हृदय स्वास्थ्य में सुधार कर सकता है क्योंकि इसमें कोलेस्ट्रॉल कम करने वाले प्रभाव होते हैं। और अंत में, यह मधुमेह वाले लोगों में रक्त शर्करा के स्तर को कम करने में मदद कर सकता है। इन सभी लाभों को ध्यान में रखते हुए, गिलोय किसी के भी आहार में शामिल करने के लिए एक उत्कृष्ट विकल्प है

‌‌‌गिलोय और तुलसी की पतियों का काढ़ा बनाकर पीयें

बुखार उतारने का टोटका

‌‌‌दोस्तों यदि आपको बुखार काफी अधिक परेशान कर रहा है तो आप यह उपाय भी कर सकते हैं। यह उपाय आपके लिए काफी अधिक फायदेमंद होगा । इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए।  और आप इस बात को समझ सकते हैं। इसके लिए आप गिलोय और तुलसी की ताजा पतियों का काढ़ा‌‌‌बनाकर सेवन करना चाहिए । ऐसा करने से बुखार काफी जल्दी ही उतर जाता है।

‌‌‌बुखार उतारने का प्रयोग लौंग

दोस्तो लौंग के बारे मे आप अच्छी तरह से जानते ही हैं ।यदि आप बुखार को उतारना चाहते हैं तो फिर आपको लौंग का प्रयोग करना चाहिए । लौंग को सबसे पहले एक तवे पर भून लेना चाहिए । और उसके बाद आपको उस लौंग को पानी के साथ सेवन करना चाहिए ।‌‌‌यदि आप उसको सेवन करते हैं तो ऐसा करने से बुखार उतर जाता है। आप इस बात को समझ सकते हैं। और यही आपके लिए सही होगा ।

‌‌‌पुदिना पत्ती काली मिर्च और नमक का प्रयोग

दोस्तों यदि आपको सर्दी के अंदर बुखार आ गया है तो फिर आप यह प्रयोग कर सकते है। पुदिना पत्ती और काली मिर्च को आपको नमक के साथ भून लेना होगा । यदि आप ऐसा करते हैं तो इससे काफी अधिक फायदा होगा ।‌‌‌और आपकी जो बुखार की समस्या है वह दूर हो जाएगी । इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । और आप इस बात को समझ सकते हैं। और यही आपके लिए सही होगा । इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । और आप इस बात को समझ सकते हैं।

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